Hari ke roop हरि के रूप संस्कृत में
हरि के शब्द रूप संस्कृत में-Hari ke roop (हरि के शब्द रूप ) हरि शब्द इकारांत पुल्लिंग होता है और इकारांत पुल्लिंग सभी शब्दों के रूप एक समान चलते हैं आज इस आर्टिकल में हम हरि के शब्द रूप सीखेंगे । हरि शब्द के रूप अकारांत् पुल्लिंग सभी शब्दों के रूप इसी प्रकार से चलते है | जैसे- कवि ।
विभक्ति | एकवचन | द्विवचन | बहुवचन |
---|---|---|---|
प्रथमा | हरिः | हरी | हरयः |
द्वितीया | हरिं | हरी | हरीन् |
तृतीया | हरिणा | हरिभ्याम् | हरिभिः |
चतुर्थी | हरये | हरिभ्याम् | हरिभ्यः |
पंचमी | हरेः | हरिभ्याम् | हरिभ्यः |
षष्ठी | हरेः | हर्योः | हरीणां |
सप्तमी | हरौ | हर्योः | हरिषु |
सम्बोधन | हे हरे ! | हे हरी ! | हे हरयः ! |
नोट– जितने भी इकारांत पुल्लिंग शब्द हैं उन सभी शब्दों के रूप हरि की तरह ही चलते हैं । जैसे मुनि, विधि, निधि, कपि, अतिथि, बारिधि, सभापति, राष्ट्रपति, भूपति, नरपति, ऋषि, कपि, निधि, रवि, गिरि, अग्नि, जलधि, पयोधि, अरि, मणि, व्याधि, उदधि आदि।
प्रिय दोस्तों हम आशा करते है कि आपको यह आर्टिकल पसंद जरूर आया होगा ।। हरि शब्द के रूप (Hari Shabd Roop) अक्सर परीक्षा में पूछे जाते है। जिसकी तैयारी करके आप परीक्षा में अच्छे अंक प्राप्त कर सकते हैं। आपकों हरि शब्द के रूप (Hari Shabd Roop) की जानकारी कैसा लगी हमें कमेंट करके जरुर बताएं और साथ ही इस पोस्ट को अपने दोस्तों के साथ शेयर जरुर करें। धन्यवाद!!
Up board result kab aayega 2024 जानिए कब तक आएगा यूपी बोर्ड का रिजल्ट
संस्कृत अनुवाद कैसे करें – संस्कृत अनुवाद की सरलतम विधि – sanskrit anuvad ke niyam-1
Garun Puran Pdf In Hindi गरुण पुराण हिन्दी में
Bhagwat Geeta In Hindi Pdf सम्पूर्ण श्रीमद्भगवद्गीता हिन्दी में