Up Board Solution For class 12 sanskrit Character sketch of shuknash शुकनास का चरित्र चित्रण

UP BOARD CLASS 12 SANSKRIT SYLLABUS 2022-23 FREE PDF

Up Board Solution For class 12 sanskrit Character sketch of shuknash शुकनास का चरित्र चित्रण

शुकनास का चरित्र — चित्रण

अवन्ति में उज्जयिनी के राजा तारापीड का प्रधान मंत्री शुकनास का चरित्र अपने विशिष्ट गुणों के कारण सर्वश्रेष्ठ । शुकनास की बुद्धि बड़े — बड़े कार्यों के संकट में भी स्थिर रहती थी । राजा तारापीड प्रजा को निश्चिन्त करके राज्य का भार मंत्री शुकनास के ऊपर डालकर सुख से रहने लगा था । शुकनास ने अपनी बुद्धि के बल से उस महान राज्य के भार को सरलता से धारण कर लिया था । वह धीर — गम्भीर, विद्वान एवं राज्य संचालन में कुशल ब्राह्मण था वह महाराज तारापीड का विश्वासपात्र था ।

निर्भीक एवं कर्त्तव्यनिष्ठ –– शुकनास के चरित्र की मुख्य विशेषता उसकी कर्तव्यनिष्ठता है । वह राज्य की सेवा को अपना परम धर्म मानता है वह समयानुसार राज्य के हित में निर्णय लेता है और अपने कार्य से राज्य का हित करता है । वह लगन एवं पूर्ण निष्ठा के साथ राज्य के समस्त कार्यों का संपादन करता है । निर्भीक स्वभाव, विवेकशीलता, दूरदर्शिता, अनुभव परिपक्वता का दर्शन उस समय स्पष्ट परिलक्षित होता है जब वह युवराज चन्द्रापीड को अनेक प्रकार के उपदेश देकर उसे सावधान करता है । वह उसे राजा का कर्तव्य सिखाता है ।

राज्य के प्रति समर्पित –– — प्रधानमंत्री शुकनास राज्य एवं राजा के प्रति एकनिष्ठ समर्पित है । वह राज्य एवं प्रजा के कल्याण में सदैव संलग्न रहता है । चन्द्रापीड के जन्म के अवसर पर उसकी प्रसन्नता देखने लायक होती है । युवराज पद पर जब चन्द्रापीड का राज्याभिषेक किया जाता है तो वह उसे बहुविधि उपदेश देकर भविष्य में लोकप्रिय राजा के रूप में तैयार करता है । उसके उपदेशों, सम्बोधन, चेतावनी से उसकी राज्यभक्ति परिलक्षित होती है ।

महाराज तारापीड का विश्वासपात्र प्रधानमंत्री शुकनास महाराज तारापीड का पूर्ण विश्वासपात्र मंत्री है । चन्द्रापीड को शिक्षा पूर्ण होने पर गुरु आश्रम से वापस लाने के लिए प्रबन्ध मंत्री शुकनास ही करता है । चन्द्रापीड को इस सन्दर्भ में राजा के पत्र के साथ मंत्री शुकनास का भी पत्र मिलता है । इस उदाहरण से शुकनास की गरिमा एवं विश्वासपात्रता का परिचय मिलता है । राजा तारापीड राज्य संचालन का भार शुकनास पर डालकर चिन्ता रहित हो जाते हैं ।

धीर -गंभीर स्वभाव — ब्राह्मण मंत्री शुकनास सम्पूर्ण राज्य संचालन की शक्ति पाकर भी अत्यन्त सरल, विनम्र, राजा एवं प्रजा का कल्याण चाहने वाला सचरित्र व्यक्ति ही सिद्ध होता है । वह राजनैतिक संकट प्रकट होने पर भी अविचलित रहता है । वह सभी समस्याओं का समाधान अपने विवेक, बुद्धि कौशल से करता है ।

दूरदृष्टिवाला — प्रधानमंत्री शुकनास अनुभवी एवं दूरदर्शी है । वह धन वैभव से उत्पन्न बुराई को समझता है । लक्ष्मी के प्रभाव से व्यक्ति दूषित विचारवाला हो जाता है । इसलिए युवराज चन्द्रापीड को लक्ष्मी की विशेषताओं से अवगत कराता है । शुकनासोपदेश इसका सर्वोत्तम उदाहरण है ।

इस आधार पर हम कह सकते हैं कि शुकनास के चरित्र में वे सभी गुण मौजूद हैं जो एक राजभक्त मंत्री में होना चाहिए । वह धैर्यवान, निर्भीक, निस्पृह, बुद्धिमान् और निष्ठावान् मंत्री है ।

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